पटना में 18 जनवरी को सर्वोदय आंदोलन के नेता हरेकृष्ण ठाकुर एवं बिहार सर्वोदय मंडल के पूर्व अध्यक्ष त्रिभुवन नारायण सिंह की शोकसभा का आयोजन किया गया। दिवंगतों के चित्र पर माल्यार्पण कर उनकी आत्मा की शांति के लिए दो मिनट का मौन रखा गया।
त्रिभुवन बाबू का निधन करीब 80 वर्ष की उम्र में 11 जनवरी 2022 को मधेपुरा में हुआ, वे अपने पीछे 6 पुत्रों एवं एक पुत्री का भरापूरा परिवार छोड़कर गये हैं। त्रिभुवन बाबू ने 1964 में सर्वोदय आंदोलन को केवल कोशी में ही नहीं, बल्कि पूरे बिहार में आगे बढ़ाया।
1966 में बिहार के अकाल में उन्होंने तपेश्वर भाई के साथ गरीबों की सेवा की और कार्यालय मंत्री की जिम्मेवारी का निर्वाह किया। वे उसी समय से सर्वोदय आंदोलन के जीवनदानी बने और जीवन भर उसी में लगे रहे। बाद में वे बिहार सर्वोदय मंडल के अध्यक्ष भी हुए।
हरेकृष्ण ठाकुर और त्रिभुवन बाबू को सहरसा, सुपौल, मधुबनी, जहानाबाद, गया, भोजपुर आदि जिलों में भी श्रद्धांजलि दी गयी। शोक सभा में सर्व सेवा संघ के पूर्व मंत्री विजय भाई, प्रमोद शर्मा, बबन सिंह, रामनाथ ठाकुर, प्रवीण कुमार सिंह, कमलबाबू, क्रांति बहन और अनमोल कुमार आद ने भी अपनी संवेदना व्यक्त की। – चंद्रभूषण
इस सवाल का जवाब तलाशने के पहले राजघाट परिसर, वाराणसी के जमीन कब्जे के संदर्भ…
पिछले कुछ महीनों में बहुत तेजी से घटे घटनाक्रम के दौरान जहां सर्व सेवा संघ…
जनमन आजादी के आंदोलन के दौरान प्रमुख मुद्दों में से एक मुद्दा शराबबंदी भी था।…
साहिबगंज में मनायी गयी 132 वीं जयंती जिला लोक समिति एवं जिला सर्वोदय मंडल कार्यालय…
कस्तूरबा को भी किया गया नमन सर्वोदय समाज के संयोजक प्रो सोमनाथ रोडे ने कहा…
This website uses cookies.